इंडियन ओवरसीज बैंक | Indian Overseas Bank

इंडियन ओवरसीज बैंक कंपनी प्रोफाइल, इतिहास, सहायक कंपनियाँ, चैयरमेन, नेटवर्थ, CEO, सर्विसेस, शेयर होल्डिंग (Indian Overseas Bank details in hindi)

इंडियन ओवरसीज बैंक (IOB) एक प्रमुख भारतीय सार्वजनिक क्षेत्र का बैंक है, जिसे 1937 में स्थापित किया गया था और इसका मुख्यालय चेन्नई, तमिलनाडु में है। यह बैंक भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीयकरण के दौरान अधिग्रहित 14 प्रमुख बैंकों में से एक था। IOB की शाखाएं भारत भर में फैली हुई हैं और इसकी अंतरराष्ट्रीय उपस्थिति सिंगापुर, कोलंबो, हांगकांग और बैंकॉक जैसे देशों में भी है, जो इसकी वैश्विक सेवा को और मजबूत बनाती है।

कंपनी प्रोफाइल (Profile)

नाम इंडियन ओवरसीज बैंक (Indian Overseas Bank)
इंडस्ट्री बैंकिंग, वित्तीय सेवाएँ
शुरुवात की तारीख 1937
मुख्य लोग अजय कुमार श्रीवास्तव (MD & CEO)
मुख्यालय चेन्नई, तमिलनाडु
स्टॉक एक्सचेंज BSE :532388, NSE :IOB
मार्किट कैप (Market Cap) ₹93,624 करोड़
राजस्व (Revenue) ₹29,705 करोड़ (वित्त वर्ष2024)
कुल संपत्ति (Total Asset) ₹3,52,033 करोड़ (वित्त वर्ष2024)
नेटवर्थ (Net Worth) ₹24,876 करोड़ (वित्त वर्ष2023)
मालक भारत सरकार
वेबसाइट iob.in

कंपनी के बारे में (About Company)

1937 में स्थापित, इंडियन ओवरसीज बैंक (IOB) ने अपनी यात्रा की शुरुआत तीन शाखाओं के साथ की, जो चेन्नई, कराईकुडी और रंगून (अब म्यांमार) में स्थित थीं। इसके संस्थापक अध्यक्ष, एम.सी.टी. चिदंबरम चेट्टियार, ने न केवल विदेशी मुद्रा और बैंकिंग को बढ़ावा देने का सपना देखा, बल्कि भारतीय व्यापार को वैश्विक स्तर पर स्थापित करने का भी संकल्प लिया। बैंक ने अपनी पहुंच धीरे-धीरे बढ़ाई और 1955 तक हांगकांग, कुआलालंपुर, सिंगापुर और कोलंबो जैसे प्रमुख अंतरराष्ट्रीय शहरों में अपनी शाखाएं स्थापित कर लीं। आज, IOB एक विश्वसनीय वैश्विक बैंकिंग नेटवर्क का हिस्सा है, जिसकी 3,269 से अधिक घरेलू शाखाएं, 2 डिजिटल बैंकिंग यूनिट्स, 4 विदेशी शाखाएं और कई प्रतिनिधि कार्यालय हैं।

IOB ने अपने ग्राहकों को विविध बैंकिंग उत्पादों और सेवाओं की पेशकश करके अपनी विशेष पहचान बनाई है। बचत और चालू खातों से लेकर ऋण, क्रेडिट कार्ड, सावधि जमा, बीमा और ऑनलाइन भुगतान सेवाओं तक, बैंक ने हर जरूरत को पूरा करने का प्रयास किया है। इसके अलावा, IOB ने कॉर्पोरेट बैंकिंग, ग्रामीण बैंकिंग, MSME सेवाएं, कृषि ऋण और डोरस्टेप बैंकिंग जैसी अनूठी सुविधाएं भी शुरू की हैं।

डिजिटल युग के साथ कदम मिलाते हुए, बैंक ने मोबाइल बैंकिंग और इंटरनेट बैंकिंग जैसी सुविधाओं को भी लॉन्च किया है, जिससे बैंकिंग सेवाएं अधिक सुविधाजनक और तेज हो गई हैं। IOB न केवल एक बैंक है, बल्कि यह भारतीय अर्थव्यवस्था और वैश्विक बैंकिंग क्षेत्र में एक मजबूत स्तंभ है, जो अपने ग्राहकों को नवीन और विश्वसनीय सेवाएं प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है।

इंडियन ओवरसीज बैंक का इतिहास (History)

  • 1937 में, एम. सीटी. एम. चिदम्बरम चेट्टियार ने भारत की विदेशी बैंकिंग और मुद्रा संचालन को बढ़ावा देने के लिए इंडियन ओवरसीज बैंक की स्थापना की।
  • 1969 में बैंक के राष्ट्रीयकरण के समय, इसकी 208 शाखाएँ थीं और इसका कुल कारोबार 156 करोड़ रुपये था।
  • 1990 में, बैंक ऑफ तमिलनाडु का IOB में विलय कर दिया गया।
  • 1998 में, बैंक ने किसान क्रेडिट कार्ड का नया संस्करण लॉन्च किया, जिसके तहत 2,369 कार्ड जारी किए गए और 538 लाख रुपये का ऋण वितरित किया गया।
  • 1999 में, बैंक ने ‘सुभा गृह’ नामक एक नई आवास योजना शुरू की, जो सरल प्रक्रियाओं और उधारकर्ताओं के लिए अनुकूल शर्तों के साथ उपलब्ध थी।
  • 2000 में, IOB ने डाबर-ऑल स्टेट इंश्योरेंस के साथ मिलकर जीवन बीमा उत्पादों के प्रचार के लिए एक समझौता किया।
  • 2003 में, IOB ने केनरा बैंक और तीन अन्य बैंकों के साथ मिलकर कार्ड आधारित एटीएम नेटवर्क के लिए समझौता किया।
  • 2004 में, IOB ने अमेरिका में रह रहे एनआरआई के लिए भारत में धन भेजने के लिए ई-कैश होम सेवा शुरू करने के लिए टाइम्स ऑनलाइन मनी के साथ समझौता किया।
  • 2005 में, IOB ने ECGC के उत्पादों को अपनी 21 अधिकृत डीलर शाखाओं के जरिए वितरित करने के लिए समझौता किया।
  • 2008 में, चेन्नई में, इंडियन ओवरसीज बैंक ने ‘आईओबी-रोटरी संपूर्ण योजना’ के कार्यान्वयन के लिए रोटरी इंटरनेशनल डिस्ट्रिक्ट 3230 के साथ समझौता किया।
  • 2010 में, IOB ने टाटा मोटर्स के साथ एक समझौता किया, जिसके तहत वाणिज्यिक वाहनों की खरीद के लिए बिना प्रोसेसिंग शुल्क के ऋण दिए जाएंगे।
  • 2013 में, IOB ने डॉयचे बैंक के साथ नकदी प्रबंधन सेवाओं के लिए साझेदारी करने हेतु एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।
  • 2018 में, IOB ने ग्रामीण इलाकों में घर बनाने के लिए राष्ट्रीय आवास बैंक के साथ समझौता किया।

सर्विसेस (Services)

  • वित्तीय सेवाएं
  • उपभोक्ता बैंकिंग
  • खुदरा बैंकिंग
  • कॉर्पोरेट बैंकिंग
  • वाणिज्यिक बैंक
  • आवास ऋण
  • वाहन ऋण
  • निवेश बैंकिंग
  • मर्चेंट बैंक
  • शिक्षा ऋण
  • निजी बैंकिंग
  • बचत
  • धन प्रबंधन
  • क्रेडिट कार्ड

शेयर होल्डिंग (Shareholding Pattern)

मार्च 2025 में इंडियन ओवरसीज बैंक में प्रमोटरों की हिस्सेदारी घटकर 94.61% रह गई, जो पहले 96.38% थी, फिर भी उनका नियंत्रण मजबूत बना हुआ है। खुदरा निवेशकों की हिस्सेदारी बढ़कर 2.59% हो गई, जबकि अन्य घरेलू संस्थानों ने भी अपनी भागीदारी बढ़ाकर 2.52% कर ली। विदेशी संस्थागत निवेशकों की हिस्सेदारी मामूली बढ़कर 0.22% हुई और म्यूचुअल फंड्स की हिस्सेदारी 0.07% पर स्थिर रही। यह संकेत है कि बैंक में संस्थागत और खुदरा निवेश धीरे-धीरे सक्रिय हो रहा है।

All values in % Mar-25 Dec-24 Sep-24
Promoter 94.61 96.38 96.38
Retail and other 2.59 2.29 2.29
Other domestic institutions 2.52 1.23 1.23
Foreign institution 0.22 0.02 0.03
Mutual funds 0.07 0.07 0.07

 

Indian Overseas Bank Dividend History

📅 घोषणा की तारीख (Announcement Date) 📆 Ex-Dividend Date 🏷️ प्रकार (Type) 💰 डिविडेंड (रु.)
29 अप्रैल 2014 19 जून 2014 अंतिम (Final) 0.50
29 जनवरी 2014 10 फरवरी 2014 अंतरिम (Interim) 0.70
29 अप्रैल 2013 20 जून 2013 अंतिम 2.00
7 मई 2012 21 जून 2012 अंतिम 4.50
2 मई 2011 4 जुलाई 2011 अंतिम 5.00
29 अप्रैल 2010 26 मई 2010 अंतिम 3.50
4 मई 2009 21 मई 2009 अंतिम 4.50
21 अप्रैल 2008 5 मई 2008 अंतिम 3.50
23 अप्रैल 2007 7 मई 2007 अंतिम 3.00
27 अप्रैल 2006 11 मई 2006 अंतिम 2.60
27 अप्रैल 2005 12 मई 2005 अंतिम 1.00
1 नवम्बर 2004 11 नवम्बर 2004 अंतरिम 1.40
10 मई 2004 10 जून 2004 अंतिम 0.80
23 दिसम्बर 2003 22 जनवरी 2004 अंतरिम 1.20
12 मई 2003 12 जून 2003 अंतिम 1.60
29 मई 2002 26 जून 2002 अंतिम 0.00
2 जून 2001 11 जुलाई 2001 अंतिम 0.00
29 अप्रैल 2010 26 मई 2010 अंतिम 3.50
4 मई 2009 21 मई 2009 अंतिम 4.50
21 अप्रैल 2008 5 मई 2008 अंतिम 3.50
23 अप्रैल 2007 7 मई 2007 अंतिम 3.00
27 अप्रैल 2006 11 मई 2006 अंतिम 2.60

सहायक कंपनिया (subsidiaries)

  • इंडियन ओवरसीज बैंक, सिंगापुर शाखा
  • इंडियन ओवरसीज बैंक, एसेट मैनेजमेंट शाखा
  • इंडियन ओवरसीज बैंक, हांगकांग शाखा
  • इंडियन ओवरसीज बैंक – बैंकॉक शाखा

निष्कर्ष

इंडियन ओवरसीज बैंक ने भारतीय और अंतरराष्ट्रीय बैंकिंग क्षेत्र में अपनी अलग पहचान बनाई है। यह बैंक अपनी सेवाओं को निरंतर सुधारता रहा है, ताकि ग्राहकों को बेहतर और सुरक्षित बैंकिंग अनुभव मिल सके। इसके विविध बैंकिंग विकल्प और तकनीकी सुविधाएं इसे ग्राहकों के बीच भरोसेमंद बनाती हैं।

 

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