श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी| Shyam Metalics and Energy

श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी कंपनी प्रोफाइल, इतिहास, प्लांट, चैयरमेन, मालिक, नेटवर्थ, और अधिक (Shyam Metalics and Energy company details in hindi)

श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी लिमिटेड एक हुई धातु बनाने वाली कंपनी है, जो इस्पात, बिजली और फेरो मिश्र धातुओं का उत्पादन करती है। यह कंपनी लोहे के छर्रे, स्पंज आयरन, टीएमटी सरिए, वायर रॉड्स और एल्युमिनियम जैसे कई सामान बनाती है, जिन्हें ‘S-E-L टाइगर’ नाम से बेचा जाता है। अपनी खुद की बिजली बनाने की सुविधा और नई तकनीक के साथ, यह कंपनी देश के निर्माण और विकास में अहम भूमिका निभा रही है।

कंपनी प्रोफाइल (Profile)

नामश्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी (Shyam Metalics and Enegry Ltd)
इंडस्ट्रीस्टील एंड पावर
शुरुवात की तारीख2002
मुख्य लोगमहाबीर प्रसाद अग्रवाल (Chairman)
मुख्यालयकोलकाता, पश्चिम बंगाल
स्टॉक एक्सचेंजBSE :543299, NSE :SHYAMMETL
मार्किट कैप (Market Cap)₹24,029 करोड़
राजस्व (Revenue)₹13,354 करोड़ (वित्त वर्ष2024)
कुल संपत्ति (Total Asset)₹7,264 करोड़ (वित्त वर्ष2024)
नेटवर्थ (Net Worth)₹10,318 करोड़ (वित्त वर्ष2024)
वेबसाइटshyammetalics.com

कंपनी के बारे में (About Company)

श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी लिमिटेड एक अग्रणी भारतीय इस्पात कंपनी है, जो गुणवत्ता, नवाचार और आत्मनिर्भर उत्पादन पर भरोसा करती है। 2002 में स्थापित इस कंपनी का मुख्यालय कोलकाता में है, और इसके प्रमुख उत्पादन केंद्र पश्चिम बंगाल और ओडिशा में स्थित हैं। कंपनी के उत्पादों में टीएमटी बार्स, वायर रॉड्स, स्पॉन्ज आयरन, बिलेट्स, फेरो अलॉय और एल्यूमिनियम फॉयल शामिल हैं, जो निर्माण से लेकर भारी उद्योगों तक में इस्तेमाल किए जाते हैं। कंपनी अपने संयंत्रों में कैप्टिव पावर का उपयोग करती है, जिससे उत्पादन पर नियंत्रण और लागत में बचत होती है।

श्याम मेटालिक्स सिर्फ उत्पादन तक सीमित नहीं है, बल्कि लगातार विकास की राह पर अग्रसर है। कंपनी ने मित्तल कॉर्प जैसे अधिग्रहण करके अपने दायरे को बढ़ाया है और एल्यूमिनियम फॉयल व इलेक्ट्रिक व्हीकल सेक्टर जैसे नए क्षेत्रों में भी कदम रखा है। इसकी कुल उत्पादन क्षमता 13.5 मिलियन टन सालाना है और यह आंकड़ा इसे देश की सबसे तेज़ी से बढ़ती इस्पात कंपनियों में शामिल करता है।

श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी का इतिहास (History)

  • श्याम डीआरआई पावर लिमिटेड की स्थापना 10 दिसंबर 2002 को कोलकाता, पश्चिम बंगाल में की गई थी। इसे कंपनी अधिनियम, 1956 के अंतर्गत एक सार्वजनिक लिमिटेड कंपनी के रूप में पंजीकृत किया गया था।
  • 23 नवंबर 2009 को नाम परिवर्तन का प्रस्ताव पारित होने के बाद, कंपनी का नाम ‘श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी लिमिटेड’ कर दिया गया, जिसे 5 जनवरी 2010 को आरओसी ने प्रमाणित किया।
  • 2013 में संबलपुर प्लांट में हर साल 3 लाख टन पेलेट बनाने वाले प्लांट की शुरुआत हुई, जिससे कंपनी ने अपने काम में पीछे से जोड़कर उत्पादन मजबूत किया।
  • 2014 में संबलपुर यूनिट में फेरो एलॉय बनाने की ताकत बढ़ाई गई, जहां 33 एमवीए तक की नई सुविधा जुड़ी, जिससे सालाना उत्पादन क्षमता अब बढ़कर करीब 98,000 टन हो गई।
  • 2015 में जमुरिया प्लांट में 43 मेगावाट का नया कैप्टिव पावर यूनिट शुरू हुआ, जिससे कुल बिजली उत्पादन क्षमता बढ़कर 64 मेगावाट पहुंच गई।
  • 2016 में जमुरिया प्लांट ने पेलेट और बिलेट उत्पादन दोनों में बड़ा विस्तार किया — पेलेट प्लांट की क्षमता बढ़ाकर 6 लाख टन सालाना कर दी गई, जबकि बिलेट उत्पादन को 01 लाख टन सालाना तक पहुंचाया गया।
  • 2017 में, संबलपुर प्लांट ने स्पंज आयरन की क्षमता 3 लाख टन तक बढ़ाई, जिससे कुल उत्पादन क्षमता 6.27 लाख टन हो गई।
  • 2019 में, संबलपुर प्लांट में स्पंज आयरन उत्पादन को 65 लाख टन बढ़ाया गया, जिससे कुल क्षमता 7.92 लाख टन हो गई। वहीं, बिलेट उत्पादन की क्षमता में 63,360 टन की वृद्धि हुई, जिससे यह कुल 4.01 लाख टन तक पहुंच गई।
  • 2020 में जमुरिया प्लांट में बिलेट्स की क्षमता 95,040 टन बढ़कर 91 लाख टन हुई, जबकि टीएमटी और वायर रॉड की क्षमता 2 लाख टन बढ़कर 4.1 लाख टन हो गई। इससे सभी संयंत्रों की कुल वार्षिक क्षमता 5.71 मिलियन टन तक पहुंच गई।
  • 2022 में, श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी लिमिटेड (SMEL) ने अपने विस्तार के तहत तीसरा अधिग्रहण पूरा किया, जो दोनों तरह के (इनऑर्गेनिक और ऑर्गेनिक) विकास को दिखाता है।
  • 2023 में, कंपनी ने मित्तल कॉर्प लिमिटेड का अधिग्रहण करके अपने व्यापारिक पोर्टफोलियो को और मजबूत किया।
  • 2024 में, कंपनी ने पश्चिम बंगाल में उत्पादन क्षमता को बढ़ाने के लिए आधुनिक ब्लास्ट फर्नेस और सिंटर प्लांट की शुरुआत की।

प्रोडक्ट/सर्विस (Product/Service)

  1. टीएमटी बार (TMT Bars)
  2. वायर रॉड्स (Wire Rods)
  3. बिलेट्स (Billets)
  4. स्पॉन्ज आयरन (Sponge Iron)
  5. फेरो अलॉय (Ferro Alloys)
  6. आयरन ओर पेलेट्स (Iron Ore Pellets)
  7. सिन्टर (Sinter)
  8. कैप्टिव पावर (Captive Power)

प्लांट (Plant)

  1. जमुरिया प्लांट (पश्चिम बंगाल):

श्याम मेटालिक्स का जमुरिया प्लांट पश्चिम बंगाल में स्थित है और यह कंपनी का एक बड़ा उत्पादन केंद्र है। यहाँ आयरन पेलेट्स, स्पॉन्ज आयरन, बिलेट्स, टीएमटी बार्स, वायर रॉड्स और स्टील से जुड़े अन्य उत्पाद बनाए जाते हैं। इस प्लांट में कैप्टिव रेलवे साइडिंग और पावर प्लांट भी है, जो उत्पादन को सुचारु रूप से चलाने में मदद करते हैं और ऊर्जा की सप्लाई सुनिश्चित करते हैं।

  1. संबलपुर प्लांट (ओडिशा):

संबलपुर प्लांट ओडिशा में स्थित है और यहाँ भी स्पॉन्ज आयरन, बिलेट्स, टीएमटी बार्स, वायर रॉड्स और आयरन पेलेट्स का उत्पादन होता है। यह प्लांट भी पावर प्लांट और रेलवे साइडिंग जैसी सुविधाओं से लैस है, जो इसके उत्पादन और सप्लाई चेन को बेहतर बनाते हैं।

  1. मंगलपुर प्लांट (पश्चिम बंगाल):

मंगलपुर प्लांट पश्चिम बंगाल में है और यहाँ स्पॉन्ज आयरन और फेरो अलॉयज बनाए जाते हैं। इस प्लांट में 15 मेगावाट का कैप्टिव पावर प्लांट है, जो संयंत्र की ऊर्जा जरूरतों को पूरा करता है। साथ ही, यह पर्यावरण को ध्यान में रखते हुए काम करता है।

  1. पाकुरिया प्लांट (पश्चिम बंगाल):

पाकुरिया प्लांट एक नया ग्रीनफील्ड यूनिट है, जो एल्यूमिनियम फॉयल का उत्पादन करता है। यह प्लांट 40,000 टन प्रति वर्ष एल्यूमिनियम फॉयल बनाने की क्षमता रखता है। यह श्याम मेटालिक्स के पोर्टफोलियो का एक नया हिस्सा है।

शेयर होल्डिंग (Shareholding Pattern)

मार्च 2025 में श्याम मेटालिक्स एंड एनर्जी लिमिटेड के शेयरों की हिस्सेदारी में कोई बड़ा बदलाव नहीं हुआ। प्रमोटरों की हिस्सेदारी पहले की तरह 74.59% रही। खुदरा और छोटे निवेशकों की हिस्सेदारी घटकर 13.98% पर आ गई, जबकि विदेशी संस्थानों की हिस्सेदारी भी थोड़ी गिरकर 3.75% रह गई। दूसरी ओर, देशी संस्थागत निवेशकों की हिस्सेदारी बढ़कर 6.51% और म्यूचुअल फंड्स की 1.17% हो गई। कुल मिलाकर, शेयरों की बनावट में हलचल तो रही, लेकिन कोई बड़ा उलटफेर नहीं दिखा।

All values in %March-25Dec-24Sep-24
Promoter74.5974.5974.59
Retail and other13.9814.8315.74
Other domestic institutions6.515.554.90
Foreign institutions3.753.843.48
Mutual funds1.171.191.29

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